राष्ट्रीय

जलीकटटू खिलाफ दायर याचिकाओं को न्यायालय द्वारा संविधान पीठ के पास भेजा

नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने तमिलनाडु में सांडों को काबू करने वाले खेल जलीकट्टू से जुड़े मामलों को आज संविधान पीठ के पास भेज दिया। प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा और न्यायमूर्ति आर. एफ. नरीमन की पीठ ने पांच सवालों की सूची तैयार की है, जिन पर संविधान पीठ अपना फैसला देगी।
न्यायमूर्ति नरीमन ने आदेश पढ़ते हुए कहा, ‘हमने संविधान पीठ के लिए पांच प्रश्नों की सूची तैयार की है।’ न्यायालय ने 12 दिसंबर, 2017 को कहा था कि तमिलनाडु द्वारा जलीकट्टू और महाराष्ट्र में बैलगाड़ी दौड़ को अनुमति देने संबंधी कानूनों को चुनौती देने वाली याचिकाओं को पांच सदस्यीय संविधान पीठ के पास भेजा जाएगा।
न्यायालय ने आदेश सुरक्षित रखते हुए कहा था कि वृहद पीठ इस बात का फैसला करेगी कि क्या राज्यों के पास ऐसे कानून बनाने का अधिकार है या नहीं। तमिलनाडु और महाराष्ट्र सरकारों ने केन्द्र के पशुओं के प्रति क्रूरता रोकथाम अधिनियम, 1960 में संशोधन करके क्रमश: जलीकट्टू और बैलगाड़ी दौड़ की अनुमति दी है। राज्यों के इन कानूनों को न्यायालय में चुनौती दी गयी है।

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