हलचल

सफाई व्यवस्था में सुधार कर, लापरवाह कार्मिकों की जिम्मेदारी तय करें : आयोग अध्यक्ष

-डॉ. प्रभात कुमार सिंघल, कोटा
बाल संरक्षण आयोग की अध्यक्ष श्रीमती संगीता बेनीवाल ने शनिवार को जेके लोन अस्पताल का निरीक्षण कर नवजात शिशुओं की मौत पर दुःख जताते हुए व्यवस्थाओं में कमी पर नाराजगी व्यक्त की तथा अस्पताल की सफाई व्यवस्था एवं प्रबंधन में सुधार करने के निर्देश दिये। उन्होंने शिशुओं की मौत के कारणों का विश्लेषण कर अभिभावकों के कहने पर भी वार्ड में नहीं जाने वाले कार्मिकों की जिम्मेदारी तय कर कार्यवाही करने के निर्देश दिये।
आयोग अध्यक्ष श्रीमती बेनीवाल ने सर्वप्रथम अस्पताल के नीकू-पीकू वार्ड पहुंचकर नवजात शिशुओं के उपचार के लिए किये जा रहे प्रबंधों तथा उपकरणों का निरीक्षण किया। उन्होंने नवीन शुरू किये गये नीकू वार्ड में देरी के कारणों की जानकारी ली, जिसमें अधीक्षक ने कक्ष के सौन्दर्यकरण एवं स्टाफ की कमी के कारण देरी होना बताया। उन्होंने पीकू वार्ड में भर्ती बच्चों के परिजनों से भी रूबरू होकर अस्पताल प्रशासन द्वारा दी जा रही सुविधाओं एवं कार्य व्यवहार के बारे मंे जानकारी ली। वार्डो में वार्मर एवं अन्य आवश्यक उपकरणों की देख-रेख के संबंध में उन्होंने निर्देश दिये कि नियमित रूप से वरिष्ठ चिकित्सा अधिकारी इस संबंध में मॉनीटरिंग कर व्यवस्थाओं में सुधार लाये।
निरीक्षण के दौरान वार्डो के बाहर तथा गैलेरी में सफाई व्यवस्था गुणवत्तापूर्ण नहीं पाये जाने पर उन्हांेने विभागाध्यक्ष शिशु रोग एवं अधीक्षक को नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा कि बेहतर सफाई व्यवस्था से ही अस्पताल में संक्रमण कम होगा इसमें किसी भी प्रकार की कोताही नहीं बरते। उन्होंने कहा कि सफाई व्यवस्था के लिए अतिरिक्त कार्मिक लगाकर गंदगी फैलाने वालों पर निगरानी भी रखे। उन्होंने प्रत्येक वार्ड में नियमित रूप से सफाई एवं रोशनी व्यवस्था के निरीक्षण के लिए जिम्मेदारी तय करते हुए कार्य व्यवस्था में सुधार करने के निर्देश दिये। उन्होंने 9 शिशुओं के मौत के कारणों का विश्लेषण कर पुर्नावृति रोकने की योजना बनाने तथा 3 दिवस मंे रिपोर्ट देने के निर्देश दिये।

  • अधिकारियों की ली बैठक

निरीक्षण के समय बाल संरक्षण आयोग की अध्यक्ष श्रीमती संगीता बेनीवाल ने अधीक्षक के कक्ष में चिकित्सा अधिकारियों की बैठक लेकर नवजात शिशुओं की मौत के कारणों की समीक्षा की तथा चिकित्सा अधिकारियों को हिदायद दी की व्यक्तिगत जिम्मेदारी के साथ आपसी समन्वयक से उपलब्ध संसाधनों का बेहतर उपयोग करें। उन्होंने अस्पताल परिसर में चल रहे निर्माण कार्यो की भी मॉनीटरिंग करते हुए निर्धारित समय में ही पूरा कराने के निर्देश दिये। अस्पताल अधीक्षक डॉ एससी दुलारा एवं शिशु रोग विभागाध्यक्ष डॉ. एएल बैरवा से उन्होंने अस्पताल में उपलब्ध संसाधनों व उपकरणों एवं स्टाफ के बारे में जानकारी ली। डॉ बैरवा द्वारा उपकरण नियमित रूप से खराब होने पर ठीक किये जाने की जानकारी देने पर आयोग अध्यक्ष ने नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा कि नियमित रूप से सभी उपकरणों की देखभाल भी समुचित व्यवस्था की जावे।

  • जिम्मेदारी तय करें

आयोग अध्यक्ष ने चिकित्साधिकारियों को स्टॉफ के कार्य व्यवहार में सुधार लाने के निर्देश देते हुए कहा कि बच्चों के अभिभावकों द्वारा अनुरोध किये जाने पर भी वार्ड में नहीं जाने वाले नर्सिंग स्टाफ की जिम्मेदारी तय करें। लापरवाही पाये जाने पर सख्त कार्यवाही अमल में लाई जावे। उन्होंने अस्पताल के सभी वार्डो तथा गैलेरी में सीसीटीवी कैमरे लगाने एवं अस्पताल में अनावश्यक भीड नहीं आने देने के भी निर्देश दिये। अधीक्षक डॉ दुलारा ने उपकरणों के रखरखाव की मॉनीटरिंग के लिए बॉयोटेक इंजीनियर की नियुक्ति की आवश्यकता बताई तथा अस्पताल में सरकार द्वारा पिछले एक साल में कराये गये विकास कार्यो, उपकरणों की उपलब्धता, स्टॉफ नियुक्ति के बारे मे विस्तार से जानकारी ली। इस अवसर पर सीडब्ल्यूसी अध्यक्ष तलत फातिमा, सदस्य आबिद अब्बासी, विमलचंद जैन, मधुबाला शर्मा भी उपस्थित रही।

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